युद्ध कौशल अभ्यास

  • हाल ही में भारतीय सेना ने अरुणाचल प्रदेश के उच्च ऊंचाई वाले कामेंग क्षेत्र में युद्ध कौशल 3.0 अभ्यास का आयोजन किया।
  • इसमें चरम हिमालयी परिस्थितियों में अगली पीढ़ी के युद्ध के लिए अपनी तैयारियों का प्रदर्शन किया गया।
  • इस अभ्यास में ड्रोन निगरानी, सटीक हमले, वास्तविक समय लक्ष्य प्राप्ति, हवाई-तटीय संचालन और समन्वित युद्धक्षेत्र रणनीति के साथ बड़े पैमाने पर युद्धाभ्यास शामिल थे।
  • इस अभ्यास का मुख्य आकर्षण नवगठित अश्नी (ASHNI) प्लाटून की पहली ऑपरेशनल तैनाती थी।
  • इसे अत्याधुनिक प्रौद्योगिकी को पारंपरिक युद्ध कौशल के साथ एकीकृत करके युद्धक्षेत्र में निर्णायक बढ़त हासिल करने के लिए बनाया गया ....
क्या आप और अधिक पढ़ना चाहते हैं?
तो सदस्यता ग्रहण करें
इस अंक की सभी सामग्रियों को विस्तार से पढ़ने के लिए खरीदें |

पूर्व सदस्य? लॉग इन करें


वार्षिक सदस्यता लें
सिविल सर्विसेज़ क्रॉनिकल के वार्षिक सदस्य पत्रिका की मासिक सामग्री के साथ-साथ क्रॉनिकल पत्रिका आर्काइव्स पढ़ सकते हैं |
पाठक क्रॉनिकल पत्रिका आर्काइव्स के रूप में सिविल सर्विसेज़ क्रॉनिकल मासिक अंक के विगत 6 माह से पूर्व की सभी सामग्रियों का विषयवार अध्ययन कर सकते हैं |

संबंधित सामग्री

लघु संचिका