अंतरराष्ट्रीय मंचों से अमेरिका का अलग होना: प्रभाव और निहितार्थ
संयुक्त राज्य अमेरिका ने हाल ही में, कई प्रमुख अंतरराष्ट्रीय संगठनों से खुद को अलग करने की घोषणा की है। इसमें संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद (UNHRC), विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) और अन्य प्रमुख वैश्विक मंच शामिल हैं। इस कदम ने अंतरराष्ट्रीय कूटनीति, वैश्विक शासन और बहुपक्षवाद पर गंभीर प्रभाव डाला है।
प्रमुख वैश्विक मंचों से अमेरिका के अलग होने के प्रमुख उदाहरण
- संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद (UNHRC): अमेरिका ने UNHRC छोड़ने का निर्णय लिया, यह कहते हुए कि यह संगठन इज़राइल के प्रति पूर्वाग्रहपूर्ण है और वास्तविक मानवाधिकार चिंताओं का समाधान करने में असफल रहा है।
- ट्रंप प्रशासन ने इसे अपनी ....
क्या आप और अधिक पढ़ना चाहते हैं?
तो सदस्यता ग्रहण करें
इस अंक की सभी सामग्रियों को विस्तार से पढ़ने के लिए खरीदें |
पूर्व सदस्य? लॉग इन करें
वार्षिक सदस्यता लें
सिविल सर्विसेज़ क्रॉनिकल के वार्षिक सदस्य पत्रिका की मासिक सामग्री के साथ-साथ क्रॉनिकल पत्रिका आर्काइव्स पढ़ सकते हैं |
पाठक क्रॉनिकल पत्रिका आर्काइव्स के रूप में सिविल सर्विसेज़ क्रॉनिकल मासिक अंक के विगत 6 माह से पूर्व की सभी सामग्रियों का विषयवार अध्ययन कर सकते हैं |
संबंधित सामग्री
- 1 धारणीय कृषि: रोजगार, स्वास्थ्य एवं पर्यावरणीय संतुलन की आधारशिला
- 2 राष्ट्रीय खेल नीति 2025
- 3 भारत की जैव अर्थव्यवस्था: सतत और समानतामूलक विकास की प्रेरक शक्ति
- 4 भारत में शहरी लचीलापन: सतत अस्तित्व की रूपरेखा
- 5 आतंकवादी वित्तपोषण के जोखिम: सीमाओं से परे एक अदृश्य ख़तरा
- 6 क्या भारत के शहर साइबर चुनौतियों का सामना करने को तैयार हैं?
- 7 परंपरागत चिकित्सा में कृत्रिम बुद्धिमत्ता: प्राचीन ज्ञान और आधुनिक विज्ञान का सेतु
- 8 भविष्य के लिए कौशल: भारत के कार्यबल परिदृश्य का रूपांतरण
- 9 NISAR मिशन: भारत–अमेरिका की अंतरिक्ष साझेदारी का नया अध्याय
- 10 भारत की वर्तमान व्यापार वार्ताएं