डिजिटल व्यक्तिगत डेटा संरक्षण विधोयक-2023 : कानूनी उपायों का महत्व एवं चुनौतियां
3 अगस्त, 2023 को केंद्र सरकार द्वारा ‘डिजिटल व्यक्तिगत डेटा संरक्षण विधेयक, 2023’ (Digital Personal Data Protection Bill, 2023) को लोक सभा में प्रस्तुत किया गया। विधेयक के अधिनियमित होने के पश्चात यह नागरिकों की डिजिटल प्राइवेसी को बनाए रखने वाला देश का पहला कानून होगा।
- विधेयक का उद्देश्य निजी संस्थाओं और सरकार द्वारा नागरिकों के डेटा का उपयोग करने के लिए दिशा-निर्देश स्थापित करना भी है। लगभग 6 वर्षों से भारत डिजिटल व्यक्तिगत डेटा के संरक्षण हेतु कानूनी प्रावधानों के निर्माण के लिए प्रयासरत है।
- नागरिकों की व्यक्तिगत जानकारी की सुरक्षा से संबंधित अत्यंत संवेदनशील मुद्दा होने के कारण व्यक्तिगत ....
क्या आप और अधिक पढ़ना चाहते हैं?
तो सदस्यता ग्रहण करें
इस अंक की सभी सामग्रियों को विस्तार से पढ़ने के लिए खरीदें |
पूर्व सदस्य? लॉग इन करें
वार्षिक सदस्यता लें
सिविल सर्विसेज़ क्रॉनिकल के वार्षिक सदस्य पत्रिका की मासिक सामग्री के साथ-साथ क्रॉनिकल पत्रिका आर्काइव्स पढ़ सकते हैं |
पाठक क्रॉनिकल पत्रिका आर्काइव्स के रूप में सिविल सर्विसेज़ क्रॉनिकल मासिक अंक के विगत 6 माह से पूर्व की सभी सामग्रियों का विषयवार अध्ययन कर सकते हैं |
संबंधित सामग्री
- 1 G20 शिखर सम्मेलन 2025: महत्वाकांक्षा बनाम वास्तविकता
- 2 रक्षा क्षेत्र में आत्मनिर्भरता: निर्भरता से क्षमता-संपन्नता तक भारत की प्रगति
- 3 अमेरिका की परमाणु सक्रियता और वैश्विक शक्ति-संतुलन का पुनर्रेखांकन
- 4 अग्रणी प्रौद्योगिकियों के माध्यम से उन्नत विनिर्माण की दिशा विकसित भारत@2047 के लक्ष्य की आधारशिला
- 5 खाद्य प्रणालियों का रूपांतरण: भोजन, पर्यावरण और जलवायु संकट के बीच संतुलन की चुनौती
- 6 उभरती कार्बन प्रबंधन प्रौद्योगिकियां: नेट-ज़ीरो भविष्य के लिए रणनीतिक समाधान
- 7 अंगदान: सामाजिक उत्तरदायित्व एवं नैतिक प्रतिबद्धता
- 8 वैश्विक महत्त्वपूर्ण खनिज आपूर्ति शृंखलाओं की रणनीतिक भेद्यताएं उभरते जोखिम और भू-राजनीतिक निहितार्थ
- 9 कृषि में डीप-टेक क्रांति: AI, रोबोटिक्स और CRISPR के युग में तकनीक-संचालित कृषि परिवर्तन
- 10 वायु प्रदूषण: एक नीतिशास्त्रीय अन्वेषण

