भारत की खाद्य भंडारण क्षमता : अनाज के बेहतर प्रबंधान हेतु एक वृहत् योजना की आवश्यकता
हाल ही में केंद्रीय मंत्रिमंडल ने विभिन्न योजनाओं के अभिसरण के माध्यम से ‘सहकारिता क्षेत्र में विश्व की सबसे बड़ी फूड स्टोरेज योजना/अनाज भंडारण योजना’ को मंजूरी प्रदान की। योजना के लिए 1 लाख करोड़ रुपए के परिव्यय का निर्धारण किया गया है।
- इस योजना के तहत प्रखंड स्तर (Block Level) पर अतिरिक्त विकेंद्रीकृत अनाज भंडारण क्षमता सृजित करने का निर्णय लिया गया है, जो कृषि क्षेत्र को सशक्त करने की दिशा में एक सकारात्मक कदम है।
- खाद्यान्न भंडारण क्षमता में वृद्धि से देश में बाजार अवसंरचना के सुदृढ़ीकरण के साथ-साथ किसानों के लिए फसलों के लाभकारी मूल्य सुनिश्चित करने में ....
क्या आप और अधिक पढ़ना चाहते हैं?
तो सदस्यता ग्रहण करें
इस अंक की सभी सामग्रियों को विस्तार से पढ़ने के लिए खरीदें |
पूर्व सदस्य? लॉग इन करें
वार्षिक सदस्यता लें
सिविल सर्विसेज़ क्रॉनिकल के वार्षिक सदस्य पत्रिका की मासिक सामग्री के साथ-साथ क्रॉनिकल पत्रिका आर्काइव्स पढ़ सकते हैं |
पाठक क्रॉनिकल पत्रिका आर्काइव्स के रूप में सिविल सर्विसेज़ क्रॉनिकल मासिक अंक के विगत 6 माह से पूर्व की सभी सामग्रियों का विषयवार अध्ययन कर सकते हैं |
संबंधित सामग्री
- 1 G20 शिखर सम्मेलन 2025: महत्वाकांक्षा बनाम वास्तविकता
- 2 रक्षा क्षेत्र में आत्मनिर्भरता: निर्भरता से क्षमता-संपन्नता तक भारत की प्रगति
- 3 अमेरिका की परमाणु सक्रियता और वैश्विक शक्ति-संतुलन का पुनर्रेखांकन
- 4 अग्रणी प्रौद्योगिकियों के माध्यम से उन्नत विनिर्माण की दिशा विकसित भारत@2047 के लक्ष्य की आधारशिला
- 5 खाद्य प्रणालियों का रूपांतरण: भोजन, पर्यावरण और जलवायु संकट के बीच संतुलन की चुनौती
- 6 उभरती कार्बन प्रबंधन प्रौद्योगिकियां: नेट-ज़ीरो भविष्य के लिए रणनीतिक समाधान
- 7 अंगदान: सामाजिक उत्तरदायित्व एवं नैतिक प्रतिबद्धता
- 8 वैश्विक महत्त्वपूर्ण खनिज आपूर्ति शृंखलाओं की रणनीतिक भेद्यताएं उभरते जोखिम और भू-राजनीतिक निहितार्थ
- 9 कृषि में डीप-टेक क्रांति: AI, रोबोटिक्स और CRISPR के युग में तकनीक-संचालित कृषि परिवर्तन
- 10 वायु प्रदूषण: एक नीतिशास्त्रीय अन्वेषण

