न्यूनतम समर्थन मूल्य के माध्यम से लघु वनोत्पाद के विपणन हेतु तंत्र एवं मूल्य शृंखला का विकास योजना

इसे 2014 में लघु वनोत्पाद के बाजार के विकास और आदिवासी संग्रहकर्ताओं के लिए उचित प्राप्ति सुनिश्चित करने के उद्देश्य से जारी किया गया था। यह जनजातीय मामलों के मंत्रालय के साथ ट्राईफेड द्वारा संचालित किया जाता है।

  • इसके भाग के रूप में एमएफपी संग्रह करने वालों के लिए विभिन्न कौशल उन्नयन प्रशिक्षण आयोजित किया जाता है।
  • जिला कार्यान्वयन इकाइयां कार्यान्वयन एजेंसियां हैं एवं इसके विकास के लिए ‘क्लस्टर विकास दृष्टिकोण’अपनाया जा रहा है।

मुद्दे

‘टिम्बर-फर्स्ट’नीति के परिणामस्वरूप, वृक्ष आवरण का क्षेत्र कम हो रहा है। यह विभिन्न एमएफपी के उत्पादन आंकड़ों में सामान्य गिरावट से परिलक्षित हो रहा है।

  • प्राथमिक हाट-बजार स्तर पर एमएफपी का व्यापार तंत्र आदिवासियों बहुल क्षेत्रों में अत्यधिक असमान है। इसके परिणामस्वरूप बिचौलियों की लंबी शृंखला बन गयी है, जिसके कारण आदिवासियों को मिलने वाली नकदी काफी कम होती है।