CAG की नियुक्ति के संबंध में केंद्र सरकार को नोटिस
17 मार्च, 2025 को सर्वोच्च न्यायालय ने भारत के नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक (CAG) की नियुक्ति के लिए एक स्वतंत्र और निष्पक्ष प्रक्रिया की मांग करने वाली याचिका पर केंद्र सरकार को नोटिस जारी किया।
- सेंटर फॉर पब्लिक इंटरेस्ट लिटिगेशन (CPIL) द्वारा दायर इस जनहित याचिका में केंद्र सरकार के उस एकमात्र विशेषाधिकार को चुनौती दी गई, जिसके तहत वह राष्ट्रपति के माध्यम से भारत के नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक (CAG) की नियुक्ति करती है।
- याचिका में CAG की नियुक्ति के लिए प्रधानमंत्री, विपक्ष के नेता और भारत के मुख्य न्यायाधीश की सदस्यता वाली एक स्वतंत्र समिति के गठन की मांग की ....
क्या आप और अधिक पढ़ना चाहते हैं?
तो सदस्यता ग्रहण करें
इस अंक की सभी सामग्रियों को विस्तार से पढ़ने के लिए खरीदें |
पूर्व सदस्य? लॉग इन करें
वार्षिक सदस्यता लें
सिविल सर्विसेज़ क्रॉनिकल के वार्षिक सदस्य पत्रिका की मासिक सामग्री के साथ-साथ क्रॉनिकल पत्रिका आर्काइव्स पढ़ सकते हैं |
पाठक क्रॉनिकल पत्रिका आर्काइव्स के रूप में सिविल सर्विसेज़ क्रॉनिकल मासिक अंक के विगत 6 माह से पूर्व की सभी सामग्रियों का विषयवार अध्ययन कर सकते हैं |
संबंधित सामग्री
- 1 सीबीएसई का बड़ा कदम: स्कूलों में ‘शुगर बोर्ड’ अनिवार्य
- 2 रोहिंग्याओं से संबंधित मामलों का निपटान विदेशी अधिनियम के तहत
- 3 नए मल्टी एजेंसी सेंटर (MAC) का उद्घाटन
- 4 नीति फ्रंटियर टेक हब (NITI-FTH) द्वारा उच्च-स्तरीय कार्यशाला का आयोजन
- 5 'राष्ट्रीय कर्मयोगी - व्यापक जन सेवा कार्यक्रम' के तहत प्रशिक्षण कार्यक्रम
- 6 युग्म नवाचार सम्मेलन
- 7 वन भूमि के गैर-वानिकी आवंटन पर राज्य एसआईटी गठित करें: सुप्रीम कोर्ट
- 8 ‘DNTs के आर्थिक सशक्तीकरण की योजना’ के क्रियान्वयन की समीक्षा
- 9 समावेशी भारत शिखर सम्मेलन 2025
- 10 कोझिकोड को WHO की "एज-फ्रेंडली सिटीज़ नेटवर्क" में स्थान

- 1 एमिनेंट डोमेन का सिद्धांत
- 2 दिल्ली HC के न्यायाधीश के आचरण की जांच हेतु 3 सदस्यीय समिति
- 3 नागरिकों की अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता: असहमति के अधिकार का सम्मान
- 4 मणिपुर, अरुणाचल तथा नगालैंड में अफस्पा की अवधि में वृद्धि
- 5 CDS द्वारा व्यापक काउंटर-UAS सिस्टम की आवश्यकता पर जोर
- 6 महाराष्ट्र में दया याचिकाओं हेतु समर्पित एक सेल की स्थापना
- 7 सर्वोच्च न्यायालय ने अधिकरणों को मजबूत करने पर बल दिया