वर्तमान में सिविल सेवा विभिन्न चुनौतियों का सामना कर रही है, इन चुनौतियों से निपटने हेतु भावनात्मक बुद्धिमत्ता की भूमिका पर टिप्पणी कीजिये?

उत्तर: भारतीय सिविल सेवा का विकास व्यापक प्रयोगों के माध्यम से एक दीर्घकालिक प्रक्रिया के रूप में हुआ है। हालांकि, इसके विकास में ब्रिटिश शासन का व्यापक योगदान रहा है किंतु भारत में इसकी उपस्थिति शासन के लगभग प्रत्येक काल में रही है।

भारतीय लोक सेवा द्वारा सामना की जाने वाली चुनौतियां

  • देश की प्रशासनिक सेवा अत्यधिक आत्मसेवी बन गई है। उदारीकरण की प्रक्रिया को अपनाए जाने के पश्चात भारत में निर्धारित आर्थिक लक्ष्यों को प्राप्त नहीं किया जा सका है, इसमें सिविल सेवकों की अक्षमता का महत्वपूर्ण योगदान है।
  • यह देखा गया है कि सिविल सेवक राजनीतिक रूप से तटस्थ ....
क्या आप और अधिक पढ़ना चाहते हैं?
तो सदस्यता ग्रहण करें
इस अंक की सभी सामग्रियों को विस्तार से पढ़ने के लिए खरीदें |

पूर्व सदस्य? लॉग इन करें


वार्षिक सदस्यता लें
सिविल सर्विसेज़ क्रॉनिकल के वार्षिक सदस्य पत्रिका की मासिक सामग्री के साथ-साथ क्रॉनिकल पत्रिका आर्काइव्स पढ़ सकते हैं |
पाठक क्रॉनिकल पत्रिका आर्काइव्स के रूप में सिविल सर्विसेज़ क्रॉनिकल मासिक अंक के विगत 6 माह से पूर्व की सभी सामग्रियों का विषयवार अध्ययन कर सकते हैं |

संबंधित सामग्री

प्रश्न पत्र