भारत में चीता पुनर्वास के लिए कार्य योजना

केंद्रीय पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर्तन मंत्री, भूपेंद्र यादव ने 5 जनवरी, 2022 को ‘भारत में चीता पुनर्वास के लिए कार्य योजना’ (Action Plan for Introduction of Cheetah in India) का अनावरण किया।

महत्वपूर्ण तथ्यः चीता एकमात्र बड़ा मांसाहारी है, जो 1952 में शिकार और निवास स्थान के नुकसान के कारण भारत में विलुप्त हो गया था।

  • कार्य योजना के तहत अगले पांच साल में 50 चीतों का भारत में पुनर्वास किया जाएगा।
  • अब, भारतीय वन्यजीव संस्थान और भारतीय वन्यजीव ट्रस्ट की मदद से, मंत्रलय पहले वर्ष के दौरान दक्षिण अफ्रीका/ नामीबिया से लगभग 8-12 चीतों को लाएगा, जहां चीता की दुनिया की सबसे बड़ी आबादी है।
  • पहले चरण में इन्हें मध्य प्रदेश के कुनो पालपुर राष्ट्रीय उद्यान में रखा जाएगा। पांच मध्य भारतीय राज्यों में सर्वेक्षण किए गए दस स्थलों में से, 748 वर्ग किलोमीटर कुनो पालपुर राष्ट्रीय उद्यान ‘निवास स्थान’ और ‘पर्याप्त शिकार आधार’ के मामले में चीता स्थानान्तरण के लिए सबसे उपयुक्त है।

जीके फ़ैक्ट

  • आईयूसीएन की खतरे वाली प्रजातियों की लाल सूची के तहत चीता को ‘अतिसंवेदनशील’ (vulnerable) प्रजाति के रूप में वर्गीकृत किया गया है। आबादी में गिरावट के बीच मुख्य रूप से अफ्रीकी सवाना में इनकी 7,000 से कम संख्या है।

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