वर्ष 2021 के लिए 56वां ज्ञानपीठ पुरस्कार

प्रख्यात असमिया कवि नीलमणि फूकन जूनियर को वर्ष 2021 के 56वें ज्ञानपीठ पुरस्कार से सम्मानित किया गया है।

  • भारत का सर्वोच्च साहित्यिक पुरस्कार ‘ज्ञानपीठ’ लेखकों को ‘साहित्य के प्रति उनके उत्कृष्ट योगदान’ के लिए हर साल दिया जाता है।
  • प्रसिद्ध कवि फूकन ने ‘सूर्य हेनु नामि अहे ए नोडियेदी’ (Surya Henu Nami Ahe Ei Nodiyedi) ‘गुलापी जमुर लग्न’, और ‘कोबिता’ का लेखन किया है।
  • वे असम के एक अग्रणी कला समीक्षक हैं, जिनका कार्य लोककथाओं और लोक कला पर केंद्रित है।
  • 90 वर्षीय फूकन को 1990 में पप्र श्री से सम्मानित किया गया था और 2002 में उन्हें साहित्य अकादमी फैलोशिप प्रदान की गई थी।
  • फूकन ज्ञानपीठ प्राप्त करने वाले तीसरे असमिया लेखक हैं। इससे पहले 1979 में ‘बीरेंद्र कुमार भ्रष्टाचार’ और 2000 में ‘ममोनी रईसम गोस्वामी’ को ज्ञानपीठ पुरस्कार से सम्मानित किया गया था।

जीके फ़ैक्ट

  • महान मलयालम कवि ‘जी शंकर कुरुप’ 1965 में ज्ञानपीठ पुरस्कार के पहले प्राप्तकर्ता थे।

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