आधुनिक काल में धरोहर स्थलों का संरक्षण

सांस्कृतिक धरोहर में स्मारक, मंदिर, किले, पांडुलिपियाँ और पुरातात्विक स्थल शामिल हैं, जिनका ऐतिहासिक, कलात्मक अथवा वैज्ञानिक महत्व है।

  • आधुनिक समय में धरोहर संरक्षण पारंपरिक सामुदायिक संरक्षण से विकसित होकर संस्थागत, वैज्ञानिक और अंतरराष्ट्रीय प्रयासों तक पहुँच चुका है।

प्राचीन और मध्यकालीन पृष्ठभूमि

  • प्राचीन भारत में “धर्म” की अवधारणा ने मंदिरों, स्तूपों, विहारों और पवित्र उपवनों की रक्षा पर बल दिया।
  • मौर्य और गुप्त शासकों ने स्तूप, चैत्य और मंदिरों का निर्माण और संरक्षण किया (उदाहरण: साँची, भरहुत, अजंता)। अभिलेखों में धरोहर संरचनाओं के रखरखाव हेतु राजकीय दान का उल्लेख मिलता है।
  • चोल, मुगल और राजपूत शासकों ने मंदिरों और किलों के पुनरुद्धार ....
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