जैन विविधता (संशोधन) अधिनियम, 2023 एवं नियम, 2024 मुख्य परिवर्तन

जैव विविधता अधिनियम, 2002 को भारत द्वारा जैव विविधता पर सम्मेलन (Convention on Biological Diversity-CBD) 1992 के तहत अपनी प्रतिबद्धताओं को लागू करने हेतु अधिनियमित किया गया था।

  • इसका उद्देश्य था जैव विविधता का संरक्षण, जैविक संसाधनों का सतत् उपयोग तथा लाभों का न्यायसंगत एवं समान बँटवारा।

हालिया विकास

  • जैव विविधता (संशोधन) अधिनियम, 2023 अगस्त 2023 से प्रभावी हुआ।
  • इसके बाद अप्रैल 2024 में जैव विविधता नियम, 2024 अधिसूचित किए गए।
  • इन संशोधनों का उद्देश्य है: आयुष, कृषि और जैव-प्रौद्योगिकी क्षेत्रों में कारोबारी सुगमता (Ease of Doing Business) को बढ़ावा देना तथा साथ ही जैव विविधता की सुरक्षा को सुदृढ़ करना।
  • 2023 संशोधन अधिनियम ....
क्या आप और अधिक पढ़ना चाहते हैं?
तो सदस्यता ग्रहण करें
इस अंक की सभी सामग्रियों को विस्तार से पढ़ने के लिए खरीदें |

पूर्व सदस्य? लॉग इन करें


वार्षिक सदस्यता लें
सिविल सर्विसेज़ क्रॉनिकल के वार्षिक सदस्य पत्रिका की मासिक सामग्री के साथ-साथ क्रॉनिकल पत्रिका आर्काइव्स पढ़ सकते हैं |
पाठक क्रॉनिकल पत्रिका आर्काइव्स के रूप में सिविल सर्विसेज़ क्रॉनिकल मासिक अंक के विगत 6 माह से पूर्व की सभी सामग्रियों का विषयवार अध्ययन कर सकते हैं |

संबंधित सामग्री

प्रारंभिक विशेष