राष्ट्रीय हरित हाइड्रोजन मिशन: नेट जीरो की ओर मार्ग
हाइड्रोजन को भविष्य का ईंधन माना जाता है और जब इसे नवीकरणीय ऊर्जा के माध्यम से इलेक्ट्रोलिसिस द्वारा तैयार किया जाता है, तो यह हरित हाइड्रोजन कहलाता है। यह इस्पात, सीमेंट, उर्वरक और भारी परिवहन जैसे कठिन-से-घटाए जाने वाले क्षेत्रों में गहन डीकार्बाेनाइजेशन का मार्ग प्रदान करता है। भारत की ऊर्जा संक्रमण की पहल और पेरिस समझौते के तहत जलवायु प्रतिबद्धताएँ, हरित हाइड्रोजन को भारत की नेट जीरो रणनीति का केंद्रीय तत्व बनाती हैं।
हालिया प्रगति
- मई 2025: नव एवं नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय के सचिव ने रॉटरडैम में वर्ल्ड हाइड्रोजन समिट को संबोधित करते हुए भारत की हरित हाइड्रोजन ....
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